मोटापे को लेप्रोस्कोपी सर्जरी से कम करे |
मोटापे को लेप्रोस्कोपी सर्जरी से कम करे |
इस वीडियो मे लॅपयरॉसकपिक सर्जरी के बारे मे सारी जानकारी दी गयी है | मोटापे को लेप्रोस्कोपी सर्जरी से कम करे | मोटापे के कारण | मोटापे के कई कारण हो सकते है। इनमें से प्रमुख है:-
मोटापा और शरीर का वजन बढ़ना, ऊर्जा के सेवन और ऊर्जा के उपयोग के बीच असंतुलन के कारण होता है। मोटापे को लेप्रोस्कोपी सर्जरी से कम करे |अधिक चर्बीयुक्त आहार का सेवन करना भी मोटापे का कारण है। कम व्यायाम करना और स्थिर जीवन-यापन मोटापे का प्रमुख कारण है। असंतुलित व्यवहार औऱ मानसिक तनाव की वजह से लोग ज्यादा भोजन करने लगते हैं, जो मोटापे का कारण बनता है। शारीरिक क्रियाओं के सही ढंग से नहीं होने पर भी शरीर में चर्बी जमा होने लगती है। बाल्यावस्था और युवावस्था के समय का मोटापा व्यस्क होने पर भी रह सकता है।
हाइपोथाइरॉयडिज़्म (अवटु अल्पक्रियता) | स्लीव गैस्ट्रेक्टॉमी और ऐसी ही दूसरी बैरियाट्रिक सर्जरी में पेट के आकार को ऑपरेशन के जरिए छोटा किया जाता है. इससे भूख जगाने वाले हॉर्मोन का उत्पादन कम हो जाता है जिससे वजन कम होने लगता है. ओबेसिटी ऐंड मेटाबॉलिक सर्जरी सोसायटी ऑफ इंडिया का अनुमान है कि देश में हर साल 12 से 15 हजार बैरियाट्रिक सर्जरी की जाती हैं. इनमें से एक बड़ी तादाद विदेशी मरीजों की भी होती है.
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मोटापा और शरीर का वजन बढ़ना, ऊर्जा के सेवन और ऊर्जा के उपयोग के बीच असंतुलन के कारण होता है। मोटापे को लेप्रोस्कोपी सर्जरी से कम करे |अधिक चर्बीयुक्त आहार का सेवन करना भी मोटापे का कारण है। कम व्यायाम करना और स्थिर जीवन-यापन मोटापे का प्रमुख कारण है। असंतुलित व्यवहार औऱ मानसिक तनाव की वजह से लोग ज्यादा भोजन करने लगते हैं, जो मोटापे का कारण बनता है। शारीरिक क्रियाओं के सही ढंग से नहीं होने पर भी शरीर में चर्बी जमा होने लगती है। बाल्यावस्था और युवावस्था के समय का मोटापा व्यस्क होने पर भी रह सकता है।
हाइपोथाइरॉयडिज़्म (अवटु अल्पक्रियता) | स्लीव गैस्ट्रेक्टॉमी और ऐसी ही दूसरी बैरियाट्रिक सर्जरी में पेट के आकार को ऑपरेशन के जरिए छोटा किया जाता है. इससे भूख जगाने वाले हॉर्मोन का उत्पादन कम हो जाता है जिससे वजन कम होने लगता है. ओबेसिटी ऐंड मेटाबॉलिक सर्जरी सोसायटी ऑफ इंडिया का अनुमान है कि देश में हर साल 12 से 15 हजार बैरियाट्रिक सर्जरी की जाती हैं. इनमें से एक बड़ी तादाद विदेशी मरीजों की भी होती है.
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